भारत में भूकंप
चर्चा में क्यों है ?
अभी हाल में हिमाचल प्रदेश में भूकंप आया है।
भारत एक भूकंपीय रूप से सक्रिय देश है। यह हिमालय पर्वत श्रृंखला के कारण है, जो एक संरचनात्मक रूप से अस्थिर क्षेत्र है। हिमालय पर्वत श्रृंखला दो टेक्टोनिक प्लेटों के बीच की सीमा पर स्थित है, भारतीय प्लेट और यूरेशियन प्लेट। इन प्लेटों के बीच लगातार टकराव होता रहता है, जिससे भूकंप और अन्य भू-वैज्ञानिक घटनाएं होती हैं।
भारत में भूकंप की तीव्रता का माप रिक्टर स्केल पर किया जाता है। रिक्टर स्केल एक 10-बिंदु पैमाना है, जिसमें 1 सबसे कम तीव्रता वाला भूकंप है और 10 सबसे अधिक तीव्रता वाला भूकंप है।
भारत में कई बड़े भूकंप आ चुके हैं। सबसे बड़े भूकंपों में से एक 1934 में आया था, जो बिहार और पूर्वी उत्तर प्रदेश में आया था। इस भूकंप की तीव्रता रिक्टर स्केल पर 8.6 थी। इस भूकंप में लाखों लोग मारे गए और भारी तबाही हुई।
भारत में भूकंपों के कारण होने वाली कुछ सामान्य क्षति में शामिल हैं:
इमारतों और अन्य संरचनाओं का क्षय
सड़कों और पुलों का क्षय
बिजली लाइनों और अन्य बुनियादी ढांचे का क्षय
व्यक्तिगत संपत्ति का नुकसान
मानव जीवन का नुकसान
भारत सरकार भूकंपों के जोखिम को कम करने के लिए कई कदम उठा रही है। इन उपायों में शामिल हैं:
भूकंपरोधी इमारतों का निर्माण
भूकंप चेतावनी प्रणाली का विकास
भूकंप के प्रति जागरूकता बढ़ाना
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